• Home
  • About Us
  • Contact Us
  • FAQ
  • Testimonials

Your Story Club

Read, Write & Publish Short Stories

  • Read All
  • Editor’s Choice
  • Story Archive
  • Discussion
You are here: Home / Hindi / Tumhe Pata Hai

Tumhe Pata Hai

Published by praveen gola in category Hindi | Hindi Poetry | Poetry with tag heart | Love

rose-petal-dewdrop

Hindi Love Poem – Tumhe Pata Hai
Photo credit: jdurham from morguefile.com

तुम्हे पता है ………. तुम्हारे आने पर …………. ये दिल अजीब सा हो जाता है ,
कभी धड़कता है ………. कभी धड़कने के ……… बहाने ढूँढ लाता है ।

मैं खामोशी से ……… तुम्हारे कहे हुए ……… हर शब्द को जब सुनती हूँ ,
तो मन ही मन में ………. ये दिल मेरा ………. तुम्हारे और करीब आता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

तुम पूछो या ना पूछो ………. मगर यहाँ भी …………. एक दर्द तो होता है ,
उस दर्द में ………. तुम्हारे साथ जीने का ……… तब और मज़ा आता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

लबों को लबों पर रखने की ……… एक चाह से ……… जब ये दिल मचलता है ,
तुम्हारा इशारा पाने को ………. तब ये लब ………. अपना रस यूँ ही टपकाता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

हाथों को बहुत रोकती हूँ ………. मगर ये हाथ …………. वहीँ फिसल से जाते हैं ,
कुछ कहने ………. करने की चाहत में ……… तब ये दिल मचल सा जाता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

तुम्हे अगन की तलब ……… अगर होती है ……… तो ये कोई गुनाह तो नहीं ,
मुझे अपनी अगन को ………. तब बुझाने का ………. एक नया तरीका और भाता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

सपनो में जीने वाले ओ ………. कभी हकीकत में गर …………. जब तुम यहाँ आते हो ,
तो हर सपने की ख्वाइश लिए ……….मेरा हर सपना ……… तब शरमाता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

दिल को अपने बहुत ……… समझाती हूँ मैं ……… कि मत भागो ऐसी चाहत के लिए ,
मगर ये दिल ………. हर बार तुम्हारी ………. चाहत में ही डूब जाता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

उस अजीब का कोई नाम नहीं ………. मैं खुद उस अजीब में …………. फँसी सी जाती हूँ ,
लाख सँभालने पर ………. ये दिल तब भी ……… तुम्हारे ही गीत गाता है ।

तुम्हे पता है  ………. तुम्हारे आने पर  ………….  ये दिल अजीब सा हो जाता है  …………

मैं शब्दों से तुम्हे ……… जो कह ना सकी ……… उनके अर्थों को तुम समझना ओ सनम ,
कि हर बार तुम्हे ………. समझाने की ख्वाइश में ………. ये दिल यूँ ही चुप सा हो जाता है ।।
***

Read more like this: by Author praveen gola in category Hindi | Hindi Poetry | Poetry with tag heart | Love

Story Categories

  • Book Review
  • Childhood and Kids
  • Editor's Choice
  • Editorial
  • Family
  • Featured Stories
  • Friends
  • Funny and Hilarious
  • Hindi
  • Inspirational
  • Kids' Bedtime
  • Love and Romance
  • Paranormal Experience
  • Poetry
  • School and College
  • Science Fiction
  • Social and Moral
  • Suspense and Thriller
  • Travel

Author’s Area

  • Where is dashboard?
  • Terms of Service
  • Privacy Policy
  • Contact Us

How To

  • Write short story
  • Change name
  • Change password
  • Add profile image

Story Contests

  • Love Letter Contest
  • Creative Writing
  • Story from Picture
  • Love Story Contest

Featured

  • Featured Stories
  • Editor’s Choice
  • Selected Stories
  • Kids’ Bedtime

Hindi

  • Hindi Story
  • Hindi Poetry
  • Hindi Article
  • Write in Hindi

Contact Us

admin AT yourstoryclub DOT com

Facebook | Twitter | Tumblr | Linkedin | Youtube